अब आवासीय कॉलोनियों में भी बैंकेट हॉल के नक्शे पास करेगा जीडीएः अनिता सी मेश्राम

गाजियाबाद। जीडीए अब आवासीय इलाकों में भी बैंकेट हॉल के नक्शे पास करेगा, बशर्ते कि उसका प्रवेश और निकास द्वार मुख्य मार्ग की ओर नहीं हो, और इससे भविष्य में यातायात की समस्या भी पैदा नहीं हो। इस बात की जानकारी मेरठ मण्डलायुक्त सह जीडीए अध्यक्ष अनिता सी मेश्राम ने दी। श्रीमती मेश्राम जीडीए की 151 वीं बोर्ड बैठक की अध्यक्षता करने के बाद जीडीए सभागार में आयोजित प्रेस वार्ता में पत्रकारों से बातचीत कर रही थीं। इस मौके पर जीडीए उपाध्यक्ष कंचन वर्मा और  जिलाधिकारी रितु माहेश्वरी और जीडीए सचिव सन्तोष कुमार राय, नगर आयुक्त सीपी सिंह समेत कई अधिकारी मौजूद थे। जीडीए अध्यक्ष श्रीमती मेश्राम ने आगे बताया कि जीडीए  बोर्ड ने गाजियाबाद विकास प्राधिकरण  भवन निमाण एवं विकास उपविधि में आंशिक  स्वीकृत/नियोजित कॉलोनियों के सेटबैक निर्धारण तथा रक्षा विज्ञान सेटबैक निर्धारण तथा रक्षा विज्ञान कर्मचारी सहकारी आवास समिति के शमन शुल्क की धनराशि से सम्बन्धित प्रस्ताव निरस्त कर दिए हैं। इसके अतिरिक्त 6 प्रस्तावों पर  संशोधन किए जाने तथा आंशिक संशोधन किए जाने तथा शेष 37 प्रस्तावों पर यथावत बोर्ड द्वारा स्वीकृति प्रदान की गई। उन्होंने कहा कि जीडीए बोर्ड के समक्ष आज 45 प्रस्ताव प्रस्तुत किए गए, जिसमें नियोजन के 18, सम्पत्ति के 8, प्रशासन के 5, अभियंत्रण और प्रवर्तन के 4-4, पूल वाहन के 2, अनुरक्षण-कम्प्यूटर-सुरक्षा और वित्त के 1-1 प्रस्ताव शामिल हैं।  इस आशय की जानकारी जीडीए द्वारा जारी प्रेस विज्ञप्ति में दी गई है। जीडीए अध्यक्ष श्रीमती मेश्राम ने आगे बताया कि जीडीए के 8, प्रशासक4-4, पूल रक्षा में हर प्रकार की आपातकालीन शिकायतों का निस्तारण 3 दिन में कर दिया जाएगा। जबकि बड़े भूखण्डों के लिए नक्शा पास करने की अधिकतम समय सीमा 60 दिन निर्धारित की गई है। उन्होंने यह भी कहा कि ग्रीन बेल्ट के सारे अवैध निर्माण ध्वस्त किये जायेंगे। इस दिशा में जीडीए की कार्रवाई प्रगति पर है। इसके जिनमे धारित किये गए हैं चार अलावा, उन्होंने कहा कि जीडीए में किसी भी प्रकार के कार्यों और शिकायतों के निवारण लिए चार पटल निर्धारित किये गए हैं। जिनमें प्रॉपर्टी, इन्फोर्समेंट, मिसलेनियस आदि प्रमुख हैं। इसके अलावा, उन्होंने अन्य तमाम प्रमुख प्रस्तावों की संक्षिप्त जानकारी भी दी। उल्लेखनीय है कि मंडलायुक्त मेश्राम के पहुंचने पर सर्वप्रथम जीडीए पुलिस द्वारा गार्ड ऑफ ऑनर देकर उनका स्वागत किया गया। यह बैठक शुक्रवार सुबह 11 बजे से शुरू होकर 2 बजे तक चली। इस मौके पर पत्रकारों के सवालों का जवाब देते हुए उपाध्यक्ष कंचन वर्मा ने बताया कि इस एजेंडे में मुख्य रूप से शामिल किए गए 150 वर्ग मीटर तक के भूखंड पर भी स्टिल्ट पार्किंग की अनुमति लेने के प्रस्ताव को निरस्त कर दिया गया है। गौरतलब है कि इससे शहर की कॉलोनियों के अदर होने वाला पाकिग व जाम् का समस्या अभी खत्म नहीं हा स्टिल्ट पनि बड़े भूखंड पर पाएगी। क्योंकि अभी तक 500 वर्ग मीटर से बड़े भूखंड पर ही स्टिल्ट पार्किंग की परमिशन है। उपाध्यक्ष सुश्री वर्मा ने आगे बताया कि सेटबैक में संशोधन किए जाने के प्रस्ताव को भी निरस्त कर दिया गया है। लिहाजा, अब यदि किसी भी प्रकार का नक्शा पास करवाया जाता है तो उसी साल के बिल्डिंग बॉयलॉज के अनुसार फ्रंट  सेटबैक दिया जाएगा, ताकि कॉलोनियों के फ्रंट में समरूपता नजर आए। इसके अतिरिक्त वर्ष 2016 में इस हेतु बनी नियमावली के आधार पर ही अन्य तीन दिशाओं के सेटबैक निर्धारित किए जाएंगे। बता दें कि अभी तक जीडीए की विभिन्न कॉलोनियों के फ्रंट में समरूपता नजर नहीं आती है जो अब आगे से आ जायेगी। इस मौके पर जीडीए के मीडिया प्रभारी अमरदीप कुमार, सहायक अभियंता सहित जीडीए के अन्य वरिष्ठ तकनीकी और विभागीय अधिकारी  मौजूद थे।