एलर्जी पर डॉक्टरों के लिए यशोदा सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल में एक सजीव कार्यशाला का आयोजन
• Rakesh Raman
#95 फीसदी लोगों में होती है घर की धूल में पाए जाने वाले डस्ट माइट से एलर्जी
गाजियाबाद। देश के 95 फीसदी लोगों में घर की धूल में पाए जाने वाले डस्ट माइट से एलर्जी होती है। इसलिए इस विषय में चिकित्सकों के बीच जनचेतना विकसित करने के लिए यशोदा सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल, कौशाम्बी में एक सजीव कार्यशाला एवं प्रशिक्षण कार्यक्रम का आयोजन किया गया, जिसका उद्घाटन यशोदा सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल के एमडी डॉ पीएन अरोड़ा ने किया। इस कार्यशाला के आयोजन में यशोदा सुपर स्पेशलिटी हॉस्पिटल के वरिष्ठ पल्मनोलॉजिस्ट व एलर्जी रोग विशेषज्ञ डॉक्टर के के पांडे, डॉ अर्जुन खन्ना एवं डॉ अंकित सिन्हा ने प्रशिक्षण दिया।
इस मौके पर डॉक्टर अंकित सिन्हा ने एलर्जी के विभिन्न प्रकार के कारणों का पता लगाने हेतु स्किन प्रिक टेस्ट का सजीव प्रशिक्षण दिया। इस दौरान उन्होंने बताया कि 95 प्रतिशत से भी अधिक लोगों में घरों में पाई जाने वाली सामान्य धूल के अंदर पनप रहे डस्ट माइट की वजह से एलर्जी होती है। फिर, अन्य कारणों के बारे में बताते हुए उन्होंने कहा कि विभिन्न लोगों में कुछ खाने की चीजें जैसे मूंगफली के दाने, अंडा, दूध, गेहूं इत्यादि से भी एलर्जी होती है। लिहाजा, बहुत ही सरल तरीके से हमारी त्वचा के ऊपर स्किन प्रिक टेस्ट से इन कारणों का पता लगाया जा सकता है और मरीजों को होने वाली भारी असुविधा से भी बचाया जा सकता है।
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