श्री तिवारी ने कहा कि क्या दिल्ली की ऐसी दुर्दशा करने के लिए दिल्ली की जनता ने आम आदमी पार्टी को प्रचंड बहुमत के साथ सत्ता में बिठाया था ? केजरीवाल सरकार को जनता ने अपार समर्थन दिया, इस विश्वास के साथ कि वो दिल्ली के विकास के लिए काम करेंगे लेकिन इसके उलट उन्होनें निगम का फंड रोककर दिल्ली के हितों के कामों को रोक दिया है। पिछले साढे चार सालों में केजरीवाल सरकार ने साजिश के तहत भाजपा शासित निगमों को बदनाम करने के लिए हर वह कोशिश की जो एक मुख्यमंत्री के लिए अमर्यादित है। दिल्ली की सत्ता और व्यवस्था को बदलने के नाम पर प्रचण्ड बहुमत पाने वाले केजरीवाल ने दिल्ली के लोगों को ठगने का काम किया है। दिल्ली जवाब मांग रही है अपनी दुर्दशा पर की कैसे आपने दिल्ली को प्रदूषण में नम्बर एक बना दिया, कैसे आपने भ्रष्टाचार के मुद्दे पर चुप्पी साध ली है, क्यों वो धर्म विशेष को खुश करने के लिए हर काम करते हैं। केजरीवाल को जवाब देना होगा नहीं तो दिल्ली के लोग विधानसभा चुनाव में इसका उचित जवाब जरूर देगें।
श्री तिवारी ने कहा कि निगम को फंड मुहैया कराना केजरीवाल सरकार की नैतिक व संवैधानिक जिम्मेदारी है जिसका निर्वहन ना करके केजरीवाल ने यह स्पष्ट कर दिया है कि वह दिल्ली की जनता के सबसे बड़े दुश्मन है। हम केजरीवाल से मांग करते हैं कि वह जल्द से जल्द निगम का बकाया 5282.2 करोड़ रूपये का फंड रिलीज करें ताकि उत्तरी दिल्ली नगर निगम के डॉक्टरों, स्कूलों में टीचरों और सफाईकर्मचारियों के वेतन भत्ते का भुगतान कर सके और निगम की व्यवस्थाओं को सुचारू रूप से चलाने की ओर बढ़ सके।