संयुक्त राष्ट्र वालिंटियर्स बने युवाओं के प्रेरक

(बाल मुकुन्द ओझा)


राजस्थान में सीकर तथा जैसलमेर जिले में संयुक्त राष्ट्र संघ तथा युवा कार्यक्रम एवं खेल मंत्रालय भारत सरकार के संयुक्त कार्यक्रम के तहत संयुक्त राष्ट्र स्वयंसेवकों की नियुक्ति की गई है। दोनों  पदाधिकारी नेहरू युवा केंद्र संगठन के अधीन युवा समन्वयक के रूप में  पदस्थापित है। कोरोना जंग में दोनों पदाधिकारी  समर्पित भाव से अपने अपने क्षेत्रों में युवाओं को साथ लेकर कार्य कर रहे है। संयुक्त राष्ट्र वालिंटियर्स कार्यक्रम दुनिया भर में स्वैच्छिक कार्रवाई के जरिए शांति और विकास में योगदान करता है। यूएनवी अपने भागीदारों के साथ मिलकर योग्य, बेहद उत्साहित और अच्छी तरह समर्थित यूएन वालिंटियर्स को जोड़ने तथा स्वैच्छिक कार्रवाई के संस्कार और उसके लिए वैश्विक मान्यता को प्रोत्साहन देने का काम करता है। यूएनवी 130 देशों में सक्रिय है। 80 से अधिक देशों में इसकी फील्ड उपस्थिति है। यूएनवी का प्रतिनिधित्व विश्व भर में है।
जैसलमेर
नेहरू युवा केंद्र जैसलमेर के जिला युवा समन्वयक फतेह लाल भील काशी हिंदू विश्वविद्यालय वाराणसी से स्नातक है। भील को नर्मदा आंदोलन, प्रयास संस्था और यशवंतराव चव्हाण एकेडमी ऑफ डेवलपमेंट एडमिनिस्ट्रेशन पुणे सहित  फाउंडेशन फॉर इकोलॉजिकल सिक्योरिटी  एनजीओ में प्रोजेक्ट मैनेजर के तौर पर 3 वर्ष तक प्राकृतिक संसाधनों के संरक्षण और संवर्धन के कार्य के साथ उदयपुर जिले के गोगुंदा आदिवासी क्षेत्र में आदिवासियों की आजीविका विकास के कार्य का व्यापक अनुभव है। 
युवा समन्वयक फतेह लाल भील ने लॉक डाउन घोषित किए जाने के तुरंत बाद से ही कोरॉना महामारी से बचाव और राहत कार्य के लिए महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। उन्होंने युवा सशक्तिकरण, स्वयंसेवा और राष्ट्र निर्माण के लिए समर्पित नेहरू युवा केंद्र के मूल्यों पर खरा उतरते हुए जनता कर्फ्यू और लॉक डाउन के पालन हेतु समुदाय को जागरूक करने के लिए पूर्व से स्वीकृत छुट्टियों को स्वेच्छा निरस्त करवा कर सेवा करने का निर्णय लिया।
उन्होंने जनता कर्फ्यू के एक दिन पूर्व ही सभी राष्ट्रीय स्वयंसेवकों की बैठक लेकर उन्हें जनता कर्फ्यू के पालन हेतु लोगों को जागरूक करने और निशुल्क  मास्क वितरण करने के लिए प्रेरित किया। इस दौरान वे नेहरू युवा केंद्र संगठन राजस्थान के राज्य निदेशक महोदय डॉ. भुवनेश जैन के मार्गदर्शन में गठित राज्य स्तरीय कॉविड रिस्पॉन्स  टीम का हिस्सा रहे और टीम को सहयोग करते हुए कोरोना से निपटने के लिए सैकड़ों युवाओं ऑनलाइन प्रशिक्षण के माध्यम से प्रशिक्षित किया। 
इस आपदा में राहत के लिए नेहरू युवा केंद्र जैसलमेर के स्वयंसेवकों और युवा क्लब सदस्यों द्वारा ग्रामीण क्षेत्र में गरीब-मजदूर परिवारों को राशन सामग्री पहुंचाने, निशुल्क मास्क वितरण करने, सार्वजनिक वितरण प्रणाली से वंचित लोगों का सर्वे करने, प्रवासी मजदूरों का सर्वे करने और सोशल मीडिया के माध्यम से ऑनलाइन अभियान चलाकर लोगों को कॉरोना बचाव के लिए जागरूक करने का महत्वपूर्ण कार्य किया।
नेहरू युवा केंद्र सीकर के युवा समन्वयक तरुण जोशी एमबीए, एलएलबी है। राजस्थान कौशल एवं आजीविका विकास निगम पाली एवं जोधपुर में बतौर  जिला सलाहकार कार्य किया है। इसके अलावा कई गैर सरकारी संस्थाओं में बतौर परियोजना समन्वयक परियोजना प्रबंधन कार्य कुशलता पूर्वक किया है। जहां कोरोना महामारी की चपेट में पूरा विश्व आज चुका है। पूरे भारत भर में सभी लोग अपने अपने स्तर पर इससे लड़ने में योगदान कर रहे हैं। तरुण जोशी जो संयुक्त राष्ट्र संघ स्वयंसेवक है, इन दिनों अपने कार्य क्षेत्र सीकर एवं झुंझुनू जिले के विभिन्न युवा मंडलो तथा युवा स्वयंसेवकों के साथ ग्रामीणों के मध्य जागरूकता, प्रचार प्रसार मास्क निर्माण, दीक्षा तथा आरोग्य सेतु ऐप के बारे में जानकारी देने के साथ ही नागरिकों को सोशल डिस्टेंसिंग के महत्व के बारे में समझाने में लगे हुए हैं।  इसी क्रम में सीकर झुंझुनू जिले के युवाओं के साथ 15 ऑनलाइन मीटिंग्स के जरिए 400 से अधिक युवाओं को जागृत किया एवं उन्हें अपने क्षेत्र में सक्रियता से कार्य करने हेतु आव्हान किया। 
अधिक से अधिक संख्या में आरोग्य एप के प्रचार प्रसार के उद्देश्य से विभिन्न प्रतियोगिताओं का आयोजन किया गया। प्रथम श्रंखला के रूप में राष्ट्रीय स्तर की एक क्विज प्रतियोगिता आयोजित की गई जिसमें 18 राज्यों के 10,000 से अधिक युवाओं ने भाग लिया। दूसरी कड़ी के रूप में एक अंतरराष्ट्रीय स्तर की  निबंध प्रतियोगिता का आयोजन विश्व उच्च रक्तचाप दिवस को किया गया जिसमें 1200 से अधिक प्रतिभागियों ने भाग लिया।